प्राकृतिक समस्याएं जैसे की वातावरण में बदलाव, वायु और जल प्रदूषण कई बार ऐसी समस्याएं प्रतीत होती हैं जिनका निवारण अत्यंत कठिन मालूम पड़ता है लेकिन कुछ आसान अत्यंत सरल और काम खर्चीले तरीकों से अपने घर को प्रदुषण मुक्त बनाना संभव हैं। तो आइये गौर करते हैं कि किन तरीक़ों से अपने घर को कैसे प्रदुषण-मुक्त कर सकते हैं ।
1. इंकैंडिसेंट बल्बों को फ्लोरोसेंट बल्ब से बदलें
अगर आप अब भी अपने घरों में इंकैंडिसेंट (Incandescent) बल्ब का उपयोग करते हैं तो बेहतर है कि आप इन बल्ब को फ्लोरोसेंट बल्ब से बदल लें। ऐसा करना बिलकुल वैसा ही हैं जैसा की सड़क पर चल रही छह लाख गाड़ियों को सड़क पर चलने से रोकना। क्योंकि बल्ब बदलने से जितनी मात्रा में कार्बन का रसाव रुकता हैं बिलकुल उतनी ही कार्बन की मात्रा कुल 6 लाख गाड़ियों से निकलता हैं। और ऐसा करने से न ही सिर्फ प्रदुषण पर रोकथाम होगा अपितु महँगे बिजली बिलों में भी कटौती होगी साथ ही यह बल्ब कई सालों तक आपके घरों को रोशन करते रहेंगे।
2. कार्बनिक (Organic) फल एवं सब्जियों का इश्तेमाल
जिन फल और सब्जियों को उगाने के लिए जहरीले रसायनों का उपयोग किया जाता है उनसे न ही सिर्फ सेहत पर असर पड़ता है बल्कि यह रसायन बाद में मिटटी में मिलकर थल-प्रदुषण और बाद में मिटटी से होते हुए ज़मीन के अंदर के पानी के स्रोत में मिलकर बाद में जल प्रदूषण का भी कारन बनती हैं। इसलिए बेहतर यही है कि ज्यादा से ज्यादा आर्गेनिक खानों का सेवन किया जाये।
3. रिड्यूस, रियूज & रीसायकल
शायद अगर सबसे ज्यादा कोई उपाय असरदायक है इस प्रदुषण की समस्या को रोकने के लिए तो वह है रिड्यूस,रियूज और रीसायकल। हाल ही मैं कई तरह के उपकरणों का उपयोग करके पेपर को फिर से रीसायकल किया जा रहा है जिससे न ही सिर्फ पेड़ कटने से बच रहे हैं, बल्कि जो हमारे काम होते जा रहे जंगल है उनको भी राहत मिल रही हैं। इसके साथ ही प्लास्टिक जोकि मुख्य कारण है प्रदुषण का उसको रीसायकल करने की भी शुरुवात हो चुकी है।
4. नहाने के समय को कम करें
एक रिसर्च के मुताबिक अगर हम अपने नहाने के समयसीमा में 1 मिनट की कटौती करते हैं तो उससे हम हर साल 180 बिलियन गैलन पानी बचा सकते हैं। इससे बेहतर एक और उपाय है वह यह की अगर मुमकिन हो तो शावर के नीचे नहाने से अच्छा बाल्टी और मग का प्रयोग करें, इससे फ़ालतू बहते पानी की बचत होगी।
यह रोजमर्रा के कुछ आसान तरीके हैं जिससे हम प्रदुषण पे कुछ हद तक काबू कर सकते हैं। सरकार के साथ-साथ हमारा भी यह कर्तव्य बनता है कि हम अपने शहर को अपने आस पड़ोस को हमेशा स्वच्छ और साफ़ रखें ताकि बीमारियां हमसे कोसो दूर रहें।