देखिए महिलाएं फ्रेंड सर्कल में क्या बातें करती है

Indian Woman Whisper,talking

आपको तो वैसे पता ही है लड़कियां बातें करने में कभी भी पीछे नहीं हटती हैं फिर इसके साथ वह जगह और समय तो बिल्कुल भी नहीं देखती हैं जहां भी उनको बातों का समय मिलता है वही शुरू हो जाती है वैसे हम आज आपके साथ लड़कियों के बारे में ही बात कर रहे हैं पर हम लड़कियों की वो बाते किस टॉपिक पर शेयर करती है वो भी फ्रेंड सर्कल के बीच में ,पर आपको बता दे, वैसे महिलाओं की यह बात कोई भी नहीं जानता होगा, सिवाय लड़कियों के कि वह अपने फ्रेंड सर्कल में क्या अपनी बाते डिसकस करती है, जानिए कुछ ऐसी बातें जो महिलाएं अपने फ्रेंड सर्कल के दौरान एक दूसरे के साथ शेयर करती हैं

पेंटिंग के रहस्य: अपने बच्चों का सहारा नहीं, साथी बने

Sahara Nahi Sathi Baniye

पेंटिंग के रहस्य: अपने बच्चों का सहारा नहीं, साथी बने बच्चों की परवरिश कैसे करें, इसके लिए सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि आप सहारा नहीं, बच्चों के साथी बने। हम अक्सर अपने बच्चो का सहारा बन्ने की कोशिश करते हैं, उन्हें हर बुराई से बचा के रखने की कोशिश करते हैं।

हां, तुम मतलबी और स्वार्थी दोस्त हो

Selfish Person Female

हाँ, तुम मतलबी हो , बहुत दिनों से ये बात कहनी थी, पर हर बार यही सोच की तुम्हे बुरा लग जायेगा। पर अब और नहीं, बस अब और नहीं, तुमने कभी मेरी परवाह नहीं की। कभी मेरा साथ नहीं दिया। जब भी मुझे तुम्हारी ज़रूरत थी, तुम वहा नहीं थे मैंने अपनी हर परेशानी में खुद को अकेला ही पाया। तुम कहते हो कि तुम मेरे सब से अच्छे दोस्त हो, पर नहीं तुम इस लायक नहीं हो, तुमने हमेशा मेरा दिल दुखाया। यकीन नहीं आता न क्यूंकि तुमने कभी ये सोचा ही नहीं कि तुम्हारी वो बातें, जो तुमने ऐसे ही बोल दी थीं, उन्होंने मेरे दिल में कितनी गहरी चोट की है। चलो आज वो हर बात साफ़ कर लेते है — मैं हमेशा तुम्हारी सफलता में खुश होती और तुम को मैंने कभी अपनी सफलता में खुश होते नहीं देखा। जब मुझे तुमसे अच्छे मार्क्स मिलते, तो तुम कभी खुश नहीं होती बल्कि इसे बस एक इत्तेफाक की बात बोलती हमेशा सिर्फ अपनी ही सुनाती रही। कभी मुझे बोलने का मौका ही नहीं दिया। यहाँ तक की कई बार मेरी बात बीच में काट कर अपनी बात करना शुरू कर देतीं और जब तुम्हे लगता की कोई मेरी बात ध्यान से सुन रहा है, तो तुम फ़ौरन किसी न किसी तरह से बात काट देती और मुझे बोलने का मौका नहीं देती अपनी लाइ गई हर चीज़ को मेरी चीजों से बेहतर बताने की कोशिश करती, कभी मेरी किसी चीज़ की तारीफ नहीं की। मुझे हमेशा नीचा दिखाने की कोशिश की। कभी कोई मेरी तारीफ करता, तो तुरंत मेरी चार कमियाँ गिना देतीं जब कभी मैं तुम्हें फ़ोन करती, तो मेरे फ़ोन को उठाने की ज़हमत भी नहीं करती और बाद में एकअटपटा सा बहाना भी बना देती और अगर कभी अगर में तुम्हारा फ़ोन न उठा पाउँ, तो फ़ौरन बुरा मान जाती तुमने कभी मुझे अपना साथी नहीं बनाया। हमेशा मुझे यही जताया कि तुम्हारी वजह से ही मेरा वजूद है, वरना मुझे कोई पूछेगा भी नहीं मेरा कोई भी ख़ास दिन, यहाँ तक कि मेरा बर्थडे भी तुम्हे याद नहीं रहता और अगर में कभी तुम्हे विश करने में लेट हो जाऊँ, तो बस फिर तो मेरी खैर नहीं … जब कभी भी मैं बहुत उत्साह से तुम्हें कोई खबर सुनाती, तो तुम हमेशा इस कोशिश में दिखती की कैसे मुझसे पीछा छूटे। तुम्हारा व्यवहार मेरे पूरे उत्साह को ठंडा कर देता तुमने कभी मुझे अपने कुछ ख़ास दोस्तों से नहीं मिलवाया, पर मेरे बारे में सब कुछ पता रखने की कोशिश करती। जब कभी तुम्हें मुझसे कोई काम होता, तो तुम अचानक ही बड़े प्यार से बात करती। सच कहूँ मैं समझ जाती थी कि तुम को ज़रूर कोई काम है मुझसे और अगर में काम से मना कर दूँ, तो तुम्हारा रूप ही बदल जाता था जब कभी मैंने तुम्हे अपने साथ चलने को कहा, तुम बहानों की एक लम्बी लिस्ट गिना देती याद है तुम्हे, जब क्लास की एक लड़की ने तुम्हरे बारे में कुछ कहा था, तो मेने उससे कितना झगडा किया था पर तुमने तब मुझे ही गलत ठहरा दिया और सब के सामने मुझे शर्मिंदा होना पड़ा कितनी बार मेरे किये गये कामों का क्रेडिट मुझे ना मिल के तुम्हे मिल जाता क्यूंकि हम हमेशा साथ जो होते थे पर तुमने कभी कोशिश नहीं की लोगों को सच बताने की मुझे बहुत बुरा लगा था, जब मुझे पता चला कि तुमने मुझसे दोस्ती सिर्फ इसलिए की क्यूंकि तुम्हे मेरी दोस्त के करीब आना था। मैंने तुम्हे अपना दोस्त माना था पर तुमने सिर्फ मुझे इस्तेमाल किया हाँ तुम सब से गंदे हो, बहुत गंदे। सब ने मेरा दिल दुखाया। मैं किसी को दोष नहीं देती क्यूंकि गलती मेरी थी क्यूंकि में हमेशा से जानती थी कि तुम मतलबी हो, पर शायद अपनी किसी कमजोरी की वजह से या तुमसे दूर हो जाने के डर से में हमेशा तुम्हारा साथ देती रही खुद को दुखी करती रही। बस अब और नहीं अब मुझे खुद को बदलना है, इसके लिए ज़रूरी है की मैं खुद को तुम जैसे लोगों से दूर कर लूँ, ताकि मैं खुद को भी मौका दे सकूँ तो बस, बाय! बाय! अलविदा …………..